ऐसे ही कोई इंजीनियर नही बन जाता.......!
आज आपके आसपास के लोग,पड़ोसी,रिश्तेदार,व्यवहारिक लोग,पुराने दोस्त,गांव के काका,शर्मा जी,गांव के बड़े बुजुर्ग आदि अक्सर ये ताना देते हुये मिल जाते हैं कि क्या मतलब है इंजीनियरिंग करने का,पढ़ाई खत्म करने के बाद जब नौकरी ही न मिले,पैसे न कमा पाओ| Follow us On Instagram कुछ लोग तो ये कहते हुए पाये जाते हैं कि शर्मा जी के बेटे को देखो,उसने इंजीनियरिंग नही की एक दुकान खोला है और खुद का बिजनेस करके लाखों कमाता है|ऐसे लोगों को शायद ये नही पता कि इंजीनियरिंग क्या होती है?ऐसे ही कोई इंजीनियर नही बन जाता उसके लिए कड़ी मेहनत व दृढ़ इच्छाशक्ति रखनी पड़ती है|एक आम विद्यार्थी जब इण्टर की परीक्षा पास करता है तो उसके सामने ये चुनौती होती है कि वह कौन से क्षेत्र में अपना करियर बनाने हेतु पढ़ाई करने का निर्णय लेवे| अपनी रूचि व इच्छानुरूप वह इंजीनियरिंग में प्रवेश लेता है जहां उसे कई चुनौतियों का सामना करना पड़ता है लेकिन वह अडिग रहता है,चाहे मैकेनिक्स विषय हो या अन्य| 50विषय,150प्रैक्टिकल्स व लगभग 200 परीक्षायें पास करने के बाद तब जाकर कोई इंजीनियर बनता है| इतना परिश्रम करने के बाद अगर कोई ये कह